फर्जी क्राइम ब्रांच दारोगा बनकर युवक से ठगी, आईपीएस की सूझबूझ से गिरफ्तार
आगरा: शहर के न्यू आगरा क्षेत्र में एक शख्स ने खुद को स्पेशल क्राइम ब्रांच का दारोगा बताकर एक युवक से 50,000 रुपये की मांग की। आरोपी ने पीड़ित को पुराने केस को दोबारा खोलने और गिरफ्तारी का डर दिखाया। साथ ही, कथित रूप से एसपी के दस्तखत वाली एक पर्ची दी। जब युवक को शक हुआ तो उसने प्रशिक्षु आईपीएस अधिकारी अक्षय से मदद मांगी। पुलिस ने जाल बिछाकर आरोपी को रंगे हाथों पकड़ लिया।
कैसे हुआ मामले का खुलासा?
पीड़ित संदीप कुमार ने बताया कि इलाके में रहने वाला विनोद कुमार नामक शख्स खुद को यूपी पुलिस की स्पेशल क्राइम ब्रांच का दारोगा बताकर लोगों पर रौब जमाता था। वह सादा कपड़ों में स्पोर्ट्स शूज पहनता और कमर में पिस्टल लगाकर घूमता था।
कुछ दिनों पहले उसने संदीप से संपर्क किया और बताया कि उनके खिलाफ पुराना केस दोबारा खुलने वाला है। मामला दबाने के लिए उसने 50,000 रुपये मांगे। इस दौरान उसने एक पर्ची भी दी, जिसमें एक मोबाइल नंबर लिखा था और दावा किया कि यह क्राइम ब्रांच के एसपी की लिखावट है।
शक होने पर की गई शिकायत
संदीप और उनके जीजा अजीत को जब मामले पर शक हुआ तो वे हरिपर्वत थाने पहुंचे और प्रशिक्षु आईपीएस अक्षय को पूरी घटना बताई। इसके बाद आईपीएस अधिकारी ने आरोपी को पकड़ने के लिए एक योजना बनाई।
गिरफ्तारी की पूरी योजना
पुलिस ने आरोपी को पैसे देने के बहाने बुलाया और 2500 रुपये तुरंत दिए, बाकी पैसे थोड़ी देर बाद देने का वादा किया। जैसे ही आरोपी ने पैसे लिए, पुलिस ने उसे मौके पर ही गिरफ्तार कर लिया। उसके पास से ठगी की रकम और एक धारदार हथियार बरामद हुआ।
जांच जारी, अन्य खुलासे संभव
फिलहाल आरोपी को न्यू आगरा थाने ले जाया गया है, जहां पुलिस उससे पूछताछ कर रही है। मामले की पूरी जांच के बाद अन्य ठगी के मामलों का भी खुलासा हो सकता है।