June 8, 2025 11:16 pm

झाँसी: जिला कारागार में मिला एक और एड्स से ग्रसित बन्दी

जिला कारागार में एड्स से ग्रसित बन्दी

झाँसी के जिला कारागार में बन्दियों की स्वास्थ्य जांच अभियान के तहत अब तक 773 बन्दियों की जाँच की जा चुकी है, जिसमें एक नया एचआईवी पॉजिटिव केस सामने आया है। इस अभियान के तहत टीबी और एचआईवी की जाँच की जा रही है, और अब तक किसी भी बन्दी में टीबी के लक्षण नहीं पाए गए हैं। जिला अस्पताल की मेडिकल टीम द्वारा यह जाँच चल रही है और बन्दियों की नियमित जांच की जा रही है ताकि किसी भी प्रकार के स्वास्थ्य संकट से बचा जा सके।जिला कारागार में एड्स से ग्रसित बन्दी

डॉ. पंकज दुबे ने बताया कि एचआईवी वायरस अगर समय रहते इलाज न मिले, तो यह एड्स में बदल सकता है, जिससे रोगी की इम्यून सिस्टम की क्षमता खत्म हो जाती है। ऐसे मरीजों को एण्टी रेट्रोवायरस थैरेपी (ART) दी जाती है, जिससे उन्हें लम्बी उम्र और स्वस्थ जीवन जीने में मदद मिलती है।

जिला कारागार में वर्तमान में 1,036 बन्दी हैं, जिनमें से 729 पुरुष विचाराधीन बन्दी हैं और 28 महिला बन्दी हैं। इसके अलावा, 265 पुरुष और 14 महिला कैदी दोषी ठहराए गए हैं, जिनमें एक महिला बन्दी के साथ एक बच्चा भी रहता है।

इस जाँच अभियान में डॉ. पंकज दुबे, परामर्शदाता अंकित मिश्रा, नरेन्द्र, नीतेश, और हरगोविन्द की टीम शामिल है। जेल प्रशासन ने बताया कि पहले जेल में 4 एड्स से ग्रसित बन्दी थे, जिनमें से एक को जमानत मिलने पर रिहा कर दिया गया है। अब एक और बन्दी एचआईवी पॉजिटिव पाया गया है, जिससे एड्स से ग्रसित बन्दियों की संख्या फिर से चार हो गई है।

टीबी और एचआईवी की जाँच जारी रहेगी, और शेष 263 बन्दियों की जाँच की जाएगी। इस प्रकार के स्वास्थ्य जाँच अभियान से जेल के बन्दियों की सेहत को लेकर प्रशासन की गंभीरता दिखती है, ताकि कोई भी गंभीर बीमारी जेल में फैल न सके।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Realted News

Gold and Silver price

Share Market

Copy link